भारतीय जनता पार्टी ने प्रदेश में गेहूूं की सरकारी खरीद के लिए सरकारी एजेंसियों द्वारा ढुलमुल रवैया अपनाये जाने पर गहरी चिन्ता व्यक्त की है। प्रदेश अध्यक्ष सूर्य प्रताप शाही ने केन्द्र सरकार द्वारा गेहूं खरीद पर रू0 50 का बोनस दिए जाने को नाकाफी बताते हुए इसे 100 रू0 प्रति क्विंटल किए जाने की मांग की।
श्री शाही ने केन्द्र भारतीय खाद्य निगम द्वारा उत्तर प्रदेश में गेहूं खरीद से दूर रहने के फैसले को किसान विरोधी बताते हुए कहा कि फैसले से बिचैलियों व कालाबाजारियों को लाभ होगा। श्री शाही ने प्रदेश सरकार से भी मांग की कि वह भी मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार की तरह किसानों को गेहूं खरीद पर रू0 100 प्रति क्विटल का वोनस दिए जाने की तत्काल घोषणा करें।
श्री शाही ने कहा कि प्रदेश में समाजवादी पार्टी एवं बहुजन समाज पार्टी के शासन के दौरान अन्नदाता किसान की हालत काफी खराब हुई है। सरकार के किसान विरोधी रवैये के कारण किसानों को बोआई के वक्त आवश्यक बीज, यूरिया, डी0ए0पी0 आदि किसान को नहीं मिल पाया। किसानों ने बोआई के लिए कालाबाजारियों से औन-पौने दामों पर बीज आदि खरीद कर अपनी फसल की तैयारी की। लगातार बढ़ती मंहगाई के चलते कृषि लागत मूल्य में जबरदस्त बढ़ोत्तरी हुई है। अब जब किसान की फसल कटकर तैयार हुई तो उसे अपनी उपज का उचित मूल्य नहीं मिल पा रहा है।
श्री शाही ने आरोप लगाया कि उत्तर प्रदेश में किसानों की उपज पर कालाबाजारी नजर लगाये हुए हैं। सरकारी क्रय केन्द्रों पर किसानों की उपज की खरीद हेतु कोई समुचित प्रबन्ध नहीं किए गये हैं। आधे से ज्यादा जगहों पर इलेक्ट्रानिक काॅंटे नहीं हैं, तौल में गड़बड़ी हो रही हेै। ऐसे में किसान सरकारी क्रय केन्द्र से मायूस होकर लौट रहे हैं। प्रदेश सरकार की भी रुचि किसानों की समस्याओं को हल करने की नहीं हैं। ऐसे में किसान दर-दर भटक रहा है। उन्होंने सरकार से मांग की कि गेहूं खरीद में सरकारी कर्मचारियों द्वारा बरती जा रही लापरवाही व अनियमितताओं के संदर्भ में तत्काल आवश्यक शिक्षा निर्देश जारी कर किसानों को उनकी उपज का समुचित मूल्य बिना किसी कठिनाई के मिल सके। इसका सख्ती से पालन सुनिश्चित कराये।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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