केन्द्रीय औशधीय एवं सगंध पौधा संस्थान (सीमैप) लखनऊ में आज पोस्त अफीम पर अन्तर्राश्ट्रीय गोश्ठी का शुभारंभ हुआ । इस सम्मेलन में देश व विदेशों के वैज्ञानिक भाग ले रहे है। इस अवसर पर संस्थान के निदेशक व आयोजन समिति के अध्यक्ष, प्रो. राम राजशेखरन ने प्रतिभागियों का स्वागत किया। डा. जी. फिनेटो (इटली) एवं डा. एस.पी. सिंह ने सिम्पोजियम का उद्घाटन किया। इस सिम्पोजियम में विभिन्न देशों के 12 प्रतिभागी इटली, हंगरी, स्लोवक रिपब्लिक, चैक रिपब्लिक, टकीZ तथा यूक्रेन से भाग ले रहें। इस सिम्पोजियम में जिन वैज्ञानिक व तकनीकी विशयों पर चर्चा होगी वह है आनुवंिशकी संसाधन, फसल सुधार, सस्य प्रौद्योगिकी, फसल उत्पादन, पौध सुरक्षा, औशधीय एवं औद्योगिक उपयोग, अफीम की संस्कृति एवं इतिहास। इस अवसर पर अफीम की एक उन्नत प्रजाति `सीमैप-अजय` का भी विमोचन किया गया। इस प्रजाति में मौजूदा प्रजाति से दुगुनी मात्रा में मोरफीन की उपलब्धता है तथा अफीम की भूसी एवं बीजों की उपज की ज्यादा है। इस प्रजाति को डा. आर. के. लाल तथा उनकी टीम ने विकसित किया है। अफीम मे पौधे का प्राचीन काल से दवाओं तथा खाद्य पदार्थों में उपयोग होता आ रहा है इसके साथ-साथ यह पौधा दवाओं तथा खाद्य तेलों में भी इसका प्रयोग होता है। इस सिम्पोजियम में 25 मुख्य व्याख्यान तथा 8 (आठ) तकनीकी सत्रों में का आयोजन किया जायेगा तथा इसके साथ-साथ पोस्टर प्रजेन्टेशन भी आयोजित किया जायेगा।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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