समाजवादी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता ने एक प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से कहा जिला पंचायत अध्यक्षों के चुनाव में प्रशासन की ‘ाह पर हो रही भारी धांधली के खिलाफ समाजवादी पार्टी के विभिन्न जनपदों से आए कार्यकर्ता आज स्टेशन रोड स्थित राज्य निर्वाचन आयोग के समक्ष धरने पर बैठ गए हैं। समाजवादी पार्टी ने निर्णय लिया है कि पार्टी के कार्यकर्ता तब तक धरने पर बैठे रहेगें जब तक जनपदों में प्रशासनिक व पुलिस मशीनरी द्वारा किया जा रहा उत्पीड़न बन्द नहीं हो जाएगा।
समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष श्री अखिलेश यादव ने आज राज्य निर्वाचन आयोग को लिखे पत्र में कहा कि 12 दिसम्बर,2010 को जिला पंचायत अध्यक्षों के होने वाले चुनाव के लिए विभिन्न जनपदों में समाजवादी पार्टी समर्थित प्रत्याशियों एवं उनके समर्थको व परिवारीजनों को परेशान किया जा रहा है। पुलिस निरीक्षकों द्वारा धमकाया जा रहा है। फर्जी मुकदमों में फंसाने की धमकियां दी जा रही है। अनेक सदस्यों के ईंट भट्टे तथा व्यापारी के प्रतििश्ठान सीज कर दिये गये हैं। उत्पीड़न की सभी सीमाएं टूट गई है। प्रदेश की प्रशासनिक और पुलिस मशीनरी सरकार के मन्त्रियों एवं विधायकों के दबाव में येन-केन-प्रकरेण बसपा प्रत्याशियों को जिताने में जुटी है जो अत्यन्त दुर्भाग्यपूर्ण है। एटा कन्नौज में प्रशासन ने आतंक मचा रखा है। ललितपुर, भदोही, कानपुर, फैजाबाद, बाराबंकी, झॉसी, पीलीभीत, मिर्जापुर, मऊ आदि जनपदो से मिली सूचनाओं में कहा गया है कि वहां निश्पक्ष एवं स्वतन्त्र चुनाव की स्थितियां नहीं है।
नेता विरोधी दल श्री शिवपाल सिंह यादव ने कल भी राज्य निर्वाचन आयोग को पत्र लिखकर सरकारी स्तर पर हो रही धांधलियों की शिकायत की थी। उन्होने ऐसे तमाम प्रमाण भी दिए थे। इसके बावजूद राज्य निर्वाचन आयोग नििश्क्रय बना रहा। यदि आयोग ही इस तरह सरकारी दबाव में पंगु बना रहेगा तो स्वतन्त्र एवं निश्पक्ष चुनाव मजाक बन जाएगा और लोकतन्त्र की हत्या का कलंक उस पर भी लगेगा।
राज्य निर्वाचन आयोग कार्यालय पर धरने पर पूर्व विधायक श्री ‘ाारदा प्रताप ‘ाुक्ल एवं श्री रविदास मेहरोत्रा सहित सर्वश्री राज किशोर मिश्रा, सुशील दीक्षित, अशोक यादव, विजय सिंह यादव, हनीफ खान, मुकेश ‘ाुक्ला, श्रीमती मुन्नी पाल, सुरेश चौहान आदि बैठे हुये हैं।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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