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रैगिंग का प्रतिशेध अधिनियम के प्राविधानों को प्रभावी रूप से लागू करें

Posted on 10 August 2010 by admin


आय प्रमाण पत्रों की वेबसाइट से सत्यापन के उपरान्त ही संस्तुति करे

जिलाधिकारी अमृत अभिजात ने निर्देश दिये है कि शैक्षणिक संस्थाओं में रैगिंग जैसी कुप्रथा पर पूर्ण रूप से प्रतिबन्ध लगाने हेतु रैगिंग का प्रतिशेध अधिनियम-2010 के प्राविधानों के अनुसार प्रभावी कार्यवाही करें और विशेश अभियान चलाकर छात्रों और उनके अभिभावको को जागरूक भी करें कि रैगिंग एक समाजिक बुराई है और इसे समाप्त होना चाहिए। रैगिंग में लिप्त पाये जाने पर दो वशZ की जेल, दस हजार रूपया जुर्माना का प्राविधान है साथ ही 5 वशZ के लिए निश्कासन, निलम्बन, जी.डी. मार्क में कटौती , स्कालरिशप बन्द आदि का दण्ड भी दिया जा सकता है। छात्रावास में रैगिंग होना पाया जाने पर बार्डेन की जबाब देही निर्धारित की जायेगी। प्रत्येक संस्थान के निदेशक/प्राचार्य का उत्तर दायित्व होगा कि अनिवार्य रूप से 15 दिन के अन्दर प्राक्टोरेल वोर्ड का गठन कर सदस्यो के नाम /पते/दूरभाश सहित सूचना जिलाधिकारी, डी.आई. जी तथा सम्बन्धित थाने में भी अनिवार्य रूप से दें।
जिलाधिकारी आज यहां आगरा कालेज के सभागार में जनपद के इन्जीनियरिंग, मेडिकल, प्रबन्धन कालेज आदि िशक्षा संस्थाओं और विभिन्न विभागो की समन्वय बैठक को सम्बोधित कर रहे थे। बैठक में लगभग 80 िशक्षा सस्थाओं के निदेशक/प्राचार्य उपस्थित थे। उन्होंने स्पश्ट किया कि िशक्षण संस्थाओ में रैगिंग की समस्या के रोकथाम हेतु आवश्यक उपाय सुनििश्चत किया जाना और कठोरता से अनुपालन कराना प्राचार्यो /निदेशकों का उत्तर दायित्व है।
उन्होंने निर्देश दिये कि इस एक्ट के सम्बन्ध में जानकारी हेतु संस्थान में वैनर/होडिग्ंस लगवायें। प्रत्येक छात्र एवं उसके अभिभावक से प्रवेश के समय शपथ पत्र लिया जाये कि यदि वे संस्थान में रैगिंग में लिप्त पाये जाये तो उन्हें संस्थान से निश्कासित कर दिया जायेगा और उसकी जिम्मेदार स्वयं छात्रों की होगी। उन्होंने प्रत्येक िशक्षण संस्थान में रैगिंग विरोधी दस्ते बनाने के निर्देश दिये।सभी संस्थानों में िशकायत पेटिकांए रखी जाये जिसमें कि छात्र बिना किसी पहचान के अपनी िशकायत, पेटिका में डाल सके।
बैठक में छात्रवृत्ति वितरण तथा शुल्क प्रतिपूर्ति के सम्बन्ध में विस्तार से चर्चा हुई।उन्होंने बताया कि छात्रों की सुविधा हेतु छात्रवृत्ति एवं शुल्क प्रतिपूर्ति के लिए एक ही आवेदन पत्र निर्धारित किये जाने का निर्णय शासन स्तर से लिया गया है । उन्होंने कहा कि आय प्रमाण पत्रों को वोर्ड आफ रेवन्यू की वेब साइट (ीजजरूध्ध् इवतण्नचण्दपबण्पद) पर सत्यापपित करने के उपरान्त ही छात्रवृत्ति एवं फीस प्रतिपूर्ति संस्तुत कर सूची तैयार करे। छात्रों  को समय से छात्रवृत्ति दिलाना और छात्रवृत्ति शासनादेश को महाविद्यालयों में लागू करना प्राचार्यो का उत्तर दायित्व है।
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी राजकुमार श्रीवास्तव , उच्च िशक्षा अधिकारी राम औतार, आगरा कालेज के प्राचार्य मनोज रावत, डिप्टी रजिस्ट्रार वालाजी यादव, एम.पी.एस. कालेज के निदेशक अर्जुनदास,देव ग्रुप के डा. एम के त्यागी, चौ रघुनाथ सिंह कालेज के चौ0 रामेश्वर सिंह, के.पी कालेज से डा0 एस.के गोपाल, तथा आनन्द इन्जी0 कालेज सहित 80 संस्थाओं के पदाधिकारी, समाज कल्याण ,पिछडा वर्ग, अल्पसंख्यक , िशक्षा, खेल, आदि विभागो के अधिकारी उपस्थित थे।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
upnewslive.com

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